मेरा पति मेरी छोटी बहन को और मेरी माँ को भी चोदता है (Mera Pati apni Sali aur Saas ko bhi chodta hai)

October 18, 2025

मेरा नाम आकांक्षा है, और जो कहानी मैं आपको सुनाने जा रही हूँ, वो बिल्कुल सच्ची है। ये कोई मनगढ़ंत कहानी नहीं, बल्कि मेरी जिंदगी का एक ऐसा सच है, जो मेरे दिल और जिस्म को हर रात झकझोर देता है। मेरी उम्र 22 साल है, और मैं एक ऐसी लड़की हूँ, जो हॉट, सेक्सी और ऊँचे खयालों वाली है। मुझे दोस्तों के साथ घूमना, शॉपिंग करना, और नई-नई चीजें खरीदना बहुत पसंद है। लेकिन मेरी जिंदगी में जो तूफान आया, उसने मुझे और मेरे परिवार को पूरी तरह बदल दिया। आज मैं आपको बताऊँगी कि कैसे मेरा पति, जो मेरा बॉस हुआ करता था, ना सिर्फ़ मेरे साथ, बल्कि मेरी छोटी बहन और मेरी माँ के साथ भी बिस्तर पर रातें गुज़ारता है। रात के अंधेरे में जब मेरी नींद खुलती है, तो मैं उसे कभी मेरी बहन के कमरे में, तो कभी मेरी माँ के कमरे में, उनकी चुदाई करते देखती हूँ। कई बार मन करता है कि सामने जाकर चिल्ला दूँ, “ये क्या कर रहे हो? ये गलत है!” लेकिन मेरे मुँह से आवाज़ नहीं निकलती। इसका कारण मैं आपको आगे बताऊँगी, कि आखिर क्यों मैं चुप हूँ, और क्यों मेरी ज़ुबान को जैसे ताला लग गया है। Jiju Saali aur Damad Saas Sex Chudai ki kahani

मेरी जिंदगी की शुरुआत बहुत साधारण थी। मैं एक गरीब परिवार से थी, जहाँ मेरे पापा और माँ के बीच हमेशा झगड़े होते थे। मेरे पापा माँ को कभी वो प्यार और सम्मान नहीं दे पाए, जो एक औरत अपने शौहर से चाहती है। हम दो बहनें, मैं और मेरी छोटी बहन रिया, इस माहौल में बड़ी हुईं। घर में हमेशा तनाव रहता था, और इसीलिए मैं संडे को भी अपने बॉस, राकेश, के घर काम करने चली जाती थी। राकेश मेरे बॉस थे, और मैं उनके घर पर उनके ऑनलाइन बिजनेस के लिए ईमेल और इन्क्वायरी देखती थी। राकेश की उम्र 34 साल थी, और उनकी शादी एक पढ़ी-लिखी, समझदार और खूबसूरत औरत से हुई थी। वो दोनों एक-दूसरे से बहुत प्यार करते थे, हमेशा घूमते-फिरते, और एक-दूसरे की हर जरूरत को पूरा करते। उनका प्यार देखकर मुझे सुकून मिलता था, क्योंकि मेरे घर में तो ये सब बस एक सपना था।

राकेश और उनकी पत्नी मुझे अपने साथ घूमने ले जाते थे। वो मेरे लिए कपड़े, जूते, और ढेर सारी चीजें खरीदते थे, जो मुझे मेरे घर में कभी नहीं मिलीं। धीरे-धीरे मैं राकेश की तरफ आकर्षित होने लगी। भले ही वो मुझसे उम्र में बड़े थे, लेकिन उनके अंदर एक ऐसी गर्मजोशी और मर्दानगी थी, जो मुझे खींचती थी। मैं सोचती थी कि काश मेरा पति भी ऐसा ही हो—प्यार करने वाला, देखभाल करने वाला, और जिस्म की भूख को समझने वाला। लेकिन फिर कोरोना का वो खौफनाक दौर आया। उस महामारी ने सब कुछ तहस-नहस कर दिया। राकेश की पत्नी उस बीमारी की चपेट में आ गईं और दुनिया छोड़ गईं। उसी दौरान मेरे पापा भी हमें छोड़कर चले गए। एक तरफ राकेश अकेले पड़ गए, और दूसरी तरफ हमारा परिवार भी बिखर गया।

इसे भी पढ़ें:  Diwali Ka Sexy Gift Diya Mami Ne Mere Lund Ko

उस मुश्किल वक्त में हम दोनों एक-दूसरे का सहारा बने। राकेश ने मेरे परिवार को आर्थिक मदद दी, और मैंने उन्हें भावनात्मक सहारा दिया। लेकिन इस सहारे के चक्कर में हम दोनों इतने करीब आ गए कि एक रात, जब मैं उनके घर रुकी थी, हमारी नजदीकियाँ जिस्मानी हो गईं। उस रात राकेश ने मुझे अपनी बाहों में लिया, मेरे होंठों को चूमा, और मेरे जिस्म को ऐसे सहलाया जैसे मैं उनकी बीवी हूँ। मैंने भी खुद को रोकने की कोशिश नहीं की। उस रात हमने जमकर चुदाई की। राकेश का लंड मेरी चूत में बार-बार अंदर-बाहर हुआ, और मैं सिसकियों के साथ उनकी बाहों में पिघलती रही। वो मुझे अपनी पत्नी की तरह बिस्तर पर ले गए, और मैंने भी उनके लंड को अपने मुँह और चूत से पूरा प्यार दिया। उनकी हर धक्के के साथ मेरी चीखें कमरे में गूँज रही थीं, और मैं हर बार और गहराई में खो जाना चाहती थी।

वो रातें बार-बार होने लगीं। हर बार जब मैं उनके घर जाती, हम दोनों एक-दूसरे के जिस्म को तलाशते। राकेश मेरी चूचियों को मसलते, मेरे निप्पल्स को चूसते, और मेरी चूत को अपनी जीभ से गीला करते। मैं उनके लंड को अपने मुँह में लेकर चूसती, और जब वो मेरे अंदर घुसते, तो मेरी पूरी बॉडी में जैसे बिजली दौड़ जाती। लेकिन इस सबके बीच मेरी माँ और बहन को हमारे रिश्ते का पता नहीं था। उन्हें लगता था कि मैं बस राकेश के यहाँ काम करती हूँ। लेकिन सच ये था कि मैं अब उनकी बीवी की तरह थी, उनके बिस्तर को गर्म करती थी, और उनकी हर ख्वाहिश को पूरा करती थी।

एक दिन मेरी जिंदगी में एक और तूफान आया। मेरा पीरियड मिस हो गया। जब मैंने टेस्ट किया, तो पता चला कि मैं प्रेगनेंट हूँ। मैं घबरा गई। राकेश भी टेंशन में आ गए। हमारे समाज में नाजायज़ रिश्ते तब तक छुपे रहते हैं, जब तक कोई औरत गर्भवती ना हो जाए। राकेश ने कहा, “एबॉर्शन करवा लेते हैं।” लेकिन मैं अपने कोख में पल रहे बच्चे को मारना नहीं चाहती थी। मैंने उनसे कहा, “मैं माँ बनना चाहती हूँ।” फिर एक दिन मजाक में मैंने कहा, “अगर मेरी मम्मी कह दें कि आप उनसे शादी कर लो, क्योंकि वो भी जवान और हॉट हैं, और उनके पास अब कोई मर्द नहीं है, तो आप क्या करोगे?” राकेश ने हँसते हुए कहा, “अरे, अगर तुम्हारी मम्मी को मना लिया, तो मैं तुम्हें भी रखूँगा, और तुम्हारी माँ को भी। एक ही घर में सब मज़े करेंगे।” मैंने हँसते हुए कहा, “बस, अब मेरी छोटी बहन रिया के बारे में कुछ मत बोलना।” लेकिन राकेश ने फिर मज़ाक किया, “रिया तो तुम दोनों से भी ज़्यादा हॉट है।” मैं हँसते-हँसते उनके ऊपर चढ़ गई, और उस दिन राकेश ने मुझे फिर से जमकर चोदा।

इसे भी पढ़ें:  छोटे भाई ने मुझे रात भर नंगा ही रखा और ६ बार चोदा, खाया

उस दिन बिस्तर पर हम दोनों नंगे एक-दूसरे की बाहों में लेटे थे। राकेश मेरी चूचियों को मसल रहे थे, मेरे निप्पल्स को अपनी उंगलियों से दबा रहे थे, और मैं उनके लंड को हल्के-हल्के सहला रही थी। उनकी गर्म साँसें मेरे गले पर पड़ रही थीं, और मैं उनकी हर हरकत से गीली हो रही थी। हम दोनों बात कर रहे थे कि मेरी माँ को कैसे मनाएँ। मैं डर रही थी कि अगर माँ को पता चला कि मैं पहले से ही राकेश के साथ चुदाई कर रही हूँ, तो वो क्या सोचेंगी? रिश्तेदार क्या कहेंगे? लोग मुझे ताने मारेंगे। लेकिन राकेश ने मुझे हिम्मत दी। उन्होंने कहा, “मैं खुद तुम्हारी माँ से बात करूँगा। तुम फिक्र मत करो।”

आखिरकार, एक दिन हमने प्लान बनाया कि मेरी माँ और रिया से खुलकर बात करेंगे। हम उनके पास गए, और राकेश ने सारी बात खोल दी। उन्होंने बताया कि हम एक-दूसरे से प्यार करते हैं, शादी करना चाहते हैं, और मेरे पेट में उनका बच्चा है। पहले तो माँ और रिया चौंक गए। माँ का चेहरा लाल हो गया, और रिया की आँखें फटी की फटी रह गईं। लेकिन फिर राकेश ने उन्हें समझाया कि वो हमारे परिवार को हर तरह से संभाल लेंगे। वो हमें एक नई जिंदगी देंगे, जिसमें कोई कमी नहीं होगी। राकेश की बातों में इतना यकीन था कि माँ और रिया मान गए।

शादी हो गई। हम सब राकेश के बड़े से घर में रहने लगे। लेकिन शादी के बाद जो हुआ, वो मैंने कभी सोचा भी नहीं था। राकेश की भूख मेरे साथ खत्म नहीं हुई। एक रात, जब मैं आधी नींद में थी, तो मैंने देखा कि राकेश मेरे बगल में नहीं थे। मैं उठकर देखने गई, तो रिया के कमरे से कुछ आवाज़ें आ रही थीं। मैंने दरवाज़ा हल्का सा खोला, और जो देखा, वो मेरे होश उड़ा गया। राकेश रिया के ऊपर थे, और रिया की सिसकियाँ कमरे में गूँज रही थीं। राकेश का लंड रिया की चूत में बार-बार अंदर-बाहर हो रहा था, और रिया की चूचियाँ उनके हर धक्के के साथ उछल रही थीं। रिया की आँखें बंद थीं, और वो राकेश के कंधों को पकड़कर अपनी चूत को और ऊपर उठा रही थी। मैं चुपके से वापस आ गई, लेकिन मेरा दिल बैठ गया।

इसे भी पढ़ें:  मेरी कसी गोरी चुत ससुर जी ने चोद दी

कुछ दिन बाद, एक और रात, मैंने राकेश को माँ के कमरे में देखा। माँ नंगी बिस्तर पर लेटी थीं, और राकेश उनकी चूत को अपनी जीभ से चाट रहे थे। माँ की सिसकियाँ और “हाय… राकेश… और करो…” की आवाज़ मेरे कानों में गूँज रही थी। राकेश ने माँ को पलटा, और उनकी गांड में अपना लंड डाल दिया। माँ की चीखें और सिसकियाँ पूरे कमरे में फैल रही थीं। मैं कुछ बोल नहीं पाई। मेरे अंदर एक अजीब सा गुस्सा और जलन थी, लेकिन साथ ही मेरी चूत भी गीली हो रही थी। मैं समझ नहीं पा रही थी कि ये क्या हो रहा है।

हर रात राकेश या तो मेरे साथ होते, या रिया के साथ, या फिर माँ के साथ। वो तीनों को बारी-बारी अपनी हवस का शिकार बनाते। उनकी भूख इतनी थी कि वो एक चूत से संतुष्ट नहीं होते थे। मैंने कई बार सोचा कि उनसे बात करूँ, लेकिन मेरी ज़ुबान नहीं खुलती। शायद इसलिए, क्योंकि कहीं ना कहीं मुझे भी ये सब अच्छा लगने लगा था। राकेश जब मेरे साथ होते, तो वो मुझे ऐसे चोदते कि मैं सब कुछ भूल जाती। उनकी हर धक्के के साथ मेरी चूत में आग लग जाती, और मैं बस उनके लंड के आगे सरेंडर कर देती।

आज भी राकेश हमारे घर का मालिक है। वो मेरी माँ को, मेरी बहन को, और मुझे, तीनों को अपने बिस्तर पर ले जाता है। और मैं? मैं चुप हूँ। क्योंकि कहीं ना कहीं, इस चुदाई के खेल में मैं भी डूब चुकी हूँ।

Tags:

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *